Friday, June 17, 2011

सब मेरे हैं..


मेरी खुशी, मेरे ग़म,
कभी ज़्यादा, कभी कम

क्या खोया, क्या पाया,
कौन सा गीत गुनगुनाया..

मेरे दिल की, मेरे मन की बात
कभी साफ, कभी घुले जज़्बात

कितनी ख्वाहिशें, तमन्ना कोई,
कुछ ज़रूरतें, आरज़ू कई,
चाहत कोई..

कुछ पूरे हैं
कुछ अधूरे हैं

लेकिन ये सब
मेरे.. सिर्फ़ मेरे हैं..



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